हवेली का दरवाजा खुलना**: हवेली का दरवाजा खुद-ब-खुद खुलते हुए, विक्रम के सामने।
हवेली का दरवाजा खुलना**: हवेली का दरवाजा खुद-ब-खुद खुलते हुए, विक्रम के सामने।
भुतनी की हवेली**: एक पुरानी, जर्जर हवेली, जो घने जंगल के बीच में खड़ी है, रात के अंधेरे में।
भुतनी की हवेली**: एक पुरानी, जर्जर हवेली, जो घने जंगल के बीच में खड़ी है, रात के अंधेरे में।
भुतनी की हवेली**: एक पुरानी, जर्जर हवेली, जो घने जंगल के बीच में खड़ी है, रात के अंधेरे में।
भुतनी की हवेली**: एक पुरानी, जर्जर हवेली, जो घने जंगल के बीच में खड़ी है, रात के अंधेरे में।
हवेली की दीवारों पर खून के धब्बों के साथ एक रहस्यमय और डरावना माहौल
हवेली की दीवारों पर खून के धब्बों के साथ एक रहस्यमय और डरावना माहौल
हवेली की दीवारों पर खून के धब्बों के साथ एक रहस्यमय और डरावना माहौल
हवेली की दीवारों पर खून के धब्बों के साथ एक रहस्यमय और डरावना माहौल
हवेली की दीवारों पर खून के धब्बों के साथ एक रहस्यमय और डरावना माहौल
विजय का कैमरा और रिकॉर्डर, हवेली की किसी कोने में पड़े हुए।"
विजय का कैमरा और रिकॉर्डर, हवेली की किसी कोने में पड़े हुए।"
हवेली के भीतर का एक किचन या स्नानघर, जिसमें पुरानी और धुंधली चीजें पड़ी हैं।"
हवेली के भीतर का एक किचन या स्नानघर, जिसमें पुरानी और धुंधली चीजें पड़ी हैं।"
रात के अंधेरे में हवेली की रहस्यमयी और डरावनी छवि।"
रात के अंधेरे में हवेली की रहस्यमयी और डरावनी छवि।"
गांव वाले घर के बारे में चर्चा करते हुए और सालों बाद भी उसकी खौफनाक कहानी सुनाते हुए।"
गांव वाले घर के बारे में चर्चा करते हुए और सालों बाद भी उसकी खौफनाक कहानी सुनाते हुए।"
"जलते हुए घर की चित्रण, जिसमें आग और धुएँ से भरा हुआ है।"
"जलते हुए घर की चित्रण, जिसमें आग और धुएँ से भरा हुआ है।"
घर पूरी तरह से जलता हुआ और उसकी लपटों से निकलती खौफनाक हंसी
घर पूरी तरह से जलता हुआ और उसकी लपटों से निकलती खौफनाक हंसी
घर से बाहर निकलते समय बंद रास्ते और घबराए हुए नीरज-स्वाति।"
घर से बाहर निकलते समय बंद रास्ते और घबराए हुए नीरज-स्वाति।"
घर से बाहर निकलते समय बंद रास्ते और घबराए हुए नीरज-स्वाति।"
घर से बाहर निकलते समय बंद रास्ते और घबराए हुए नीरज-स्वाति।"
स्वाति और नीरज घर छोड़ने की तैयारी कर रहे हैं
स्वाति और नीरज घर छोड़ने की तैयारी कर रहे हैं
स्वाति और नीरज घर छोड़ने की तैयारी कर रहे हैं
स्वाति और नीरज घर छोड़ने की तैयारी कर रहे हैं
स्वाति का सपना जिसमें संदूक के अंदर कैद आत्मा को दिखाया गया है।"
स्वाति का सपना जिसमें संदूक के अंदर कैद आत्मा को दिखाया गया है।"
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स्वाति का डर और पसीना, और उसकी भयानक स्थिति
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कमरे की दीवारें खून से भरी हुई हैं